आरा/भोजपुर(अनिल सिंह)कार्यालय विकास आयुक्त (हस्त शिल्प) वस्त्र मंत्रालय भारत सरकार द्वारा प्रायोजित एवं भोजपुर महिला हैंडीक्राफ्ट प्रोड्यूसर कंपनी लिमिटेड द्वारा आयोजित शिल्पकृति प्रदर्शनी सह विक्रय मेला में गुरु बक्शी विकास के नेतृत्व में पंडित बिरजू महाराज स्मृति युवा संगीत सम्मेलन का आयोजन किया गया। इस सम्मेलन का उद्घाटन कथक गुरु बक्शी विकास ने दीप प्रज्जवलित कर किया। इस अवसर पर गुरु बक्शी विकास ने कहा कि शास्त्रीय संगीत का श्रवण अमृतपान की अनुभूति के समान है। पंडित बिरजू महाराज जैसे व्यक्तित्व इस धरा पर अवतरित होकर संगीत को युगों युगों तक अमर कर दिया है। क्षेत्रीय स्तर पर युवा पीढ़ी के लिय संगीत करना चुनौती पूर्ण है क्योंकि भोजपुर में संगीत के नाम पर कई अपसंस्कृतियों को जबरदस्ती समाज पर थोपा जा रहा है जिसमें चतुर्दिक शोर व्याप्त है। संगीत के कद्रदानों को मौलिक संगीत और बनावटी संगीत के फर्क को समझना होगा। भोजपुरी में बढ़ रहीं अपसंस्कृति भोजपुरी के विकास में बाधक है जिसे दूर करना आवश्यक है तभी भोजपुरी को सम्मान दिलाया जा सकता है। कार्यक्रम में श्री रौशन कुमार ने स्वतंत्र संवादिनी वादन में रागों का स्वरूप खड़ा कर दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। वहीं विदुषी विमला देवी की शिष्या सुश्री श्रेया पाण्डेय व शिष्य श्री अजीत पाण्डेय ने शास्त्रीय गायन में राग शुद्ध कल्याण की कई बंदिशों को प्रस्तुत कर तालियां बटोरी। कथक नर्तक श्री अमित कुमार, नृत्यांगना सुश्री शालिनी महाराज, सुश्री हर्षिता विक्रम, सुश्री खुशी कुमारी गुप्ता व सुश्री संजना कुमारी ने कथक नृत्य की शुरुआत भवानी स्तुति से करते हुये विभिन्न तालों में पारंपरिक कथक की भाव भंगिमाओं से श्रोताओं का दिल जीत लिया। मंच संचालन श्री दिलीप कुमार व धन्यवाद ज्ञापन श्रीमती अनीता गुप्ता ने किया।